भारतीय रेल की अब तक की सबसे आधुनिक ट्रेन "तेजस" सोमवार से पटरियोंपर दौड़ती नजर आएगी। तेजस की क्षमता 200 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ़्तार से दौड़ने की है। लेकिन भारत में यह ट्रैन ट्रैक के अपग्रेड होने तक 130 किलोमीटर की रफ्तार से ही चलाई जाएगी। इसमें हमने बैलेंस राफ्ट गेयर और इलेक्ट्रो न्यूमेटिक प्लेट लगाया है जिससे सभी कोच में एक साथ ब्रेक लगेगा जिससे झटका नहीँ लगेगा। तेजस के हर कोच पर करीब 70 लाख का अतिरिक्त खर्च आया है। पूरी ट्रेन पर करीब 30 फीसदी अतिरिक्त खर्च आया है और इसके मैटीरियल को फायर रिटारडेन्ट और टोक्सिसिटि नॉर्म्स के अनुसार लगाया गया है।
कपूरथला रेल कोच फैक्टरी से चल कर आज ट्रेन को दिल्ली लाया गया जहां रेल मंत्री सुरेश प्रभु ने इसका मुआयना किया. दिल्ली के सफदरजंग रेलवे स्टेशन पर लाई गई ट्रेन तेजस का मुआयना करने खुद रेल मंत्री सुरेश प्रभु आए थे जिससे जाहिर होता है कि ये ट्रेन कुछ खास है।
सरकार ने बजट में 4 नई ट्रेन शुरू करने का ऐलान किया था। उसके तहत पहली अंत्योदय एक्सप्रेस ट्रेन शुरू की गई जो आम आदमी की सुविधा के लिए पूरी अनारक्षित है जिसमे एक्जीक्यूटिव क्लास सुविधाएं हैं। इसके बाद मिडिल क्लास लोगों के लिए हमसफर नाम की ट्रेन शुरू की गई। इसके बाद मिडिल क्लास के लिए पूरी तरह एयर कंडीशन ये ट्रेन तेजस सोमवार से गोवा-मुम्बई रूट पे दौड़ने लगेगी।
इस ट्रैन में बहुतसी खुबिया है। विमान के वैक्यूम टॉयलेट और बायो टॉयलेट को एक साथ मिला कर बनाया गया है। इसके बाद अगली तेजस अहमदाबाद से मुम्बई को चलेगी. इसके बाद देश के सभी हिस्सों में फौरन ही तेजस चलाई जाएगी। लेकिन इन ट्रेनों का किराया सामान्य ट्रेनों से काफी अधिक होगा।
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